भारत की स्वतंत्रता और भारत-फ्रांस संबंधों के 75 साल पूरे होने का जश्न

नई दिल्ली, 14 मार्च, 2022ः भारत में फ्रांस के राजदूत, महामहिम, श्री इमैन्युअल लेनेन, ने आज बोन्ज़ूर इंडिया 2022 के चौथे संस्करण की घोषणा की।

2022 में अपने चौथे एडिशन में दोनों देशों के बीच पीपुल-टु-पीपुल एक्सचेंज को आगे ले जाने के लिए बोन्ज़ूर इंडिया भारतीय स्वतंत्रता और भारत फ्रांस के बीच कूटनीतिक संबंधों की स्थापना के 75 साल पूरे होने का जश्न मना रहा है। यह किसी भी देश के इतिहास मैं एक महत्त्वपूर्ण क्षण होता है। फोटोग्राफी, विज्ञान व पत्रों द्वारा दोनों देशों के बीच साझा इतिहास का वर्णन करने वाली परियोजनाओं के अलावा बोन्ज़ूर इंडिया दुनिया मैं महामारी फैलने के एक लंबे समय के बाद सकारात्मक वातावरण के निर्माण, समुदायों की स्थापना, और सामाजिक आदान प्रदान को बढ़ावा देकर विविधता, खुशी और सौहार्द्र उत्पन्न करने का भी एक अवसर होगा।

बोन्ज़ूर इंडिया मैं 19 भारतीय शहरों मैं फ्रांस एवं भारतीय पार्टनर्स के सहयोग से शिक्षा, विज्ञान, साहित्य, सिनेमा, गैस्ट्रोनोमी, स्ट्रीट आर्ट, परफॉर्मिंग आर्ट्स और फोटोग्राफी जैसे क्षेत्रों में 120 इवेंट्स के एक कार्यक्रम का प्रदर्शन होगा।

बोन्ज़ूर इंडिया के बारे राजदूत इमैन्युअल लेनेन ने कहा, “बोन्ज़ूर इंडिया भारतीय स्वतंत्रता की 75 वीं वर्षगांठ के अवसर पर फ्रांस का भारत के नागरिकों को एक उपहार है। पूरे भारत मैं 14 अलायंसेज फ्रांसेज़ के नेटवर्क की वजह से भारत और फ्रांस के बीच कई दशकों से हर क्षेत्र मैं घनिष्ठ सांस्कृतिक साझेदारी रही है। इस फेस्टिवल के दौरान हम पूर्व मैं किए गए एक्सचैंजेस का सम्मान करेंगे और नए सहयोगों का निर्माण करेंगे।”

राजदूत लेनिन ने आगे कहा, “हम मानते हैं कि दोनों देशों की कला, संस्कृति एवं विचारधारा एक जैसे होने के कारण हमारे संबंध और भी गहरे हो सकते हैं। मैं दोनों देशों के सबसे रचनात्मक लोगों के साथ आने के लिए बेहद उत्सुक हूँ जिससे दोनों ही देशों मैं और अधिक रचनात्मकता तथा समृद्धि आएगी। मुझे विश्वास है कि दोनों देशों के बीच विचारों का मुक्त आदान-प्रदान होगा, जिससे भविष्य मैं नए विचारों का जन्म होगा और हमें आगे आने वाली चुनौतियों से निपटने मैं सहायता मिलेगी।’’

हर ईवेंट सभी के लिए खुली है और उनकी रचना खुशी व मनोरंजन प्रदान करने के लिए की गई है। ज्यादातर मामलों में ये आम जनता को स्वतंत्र रूप से उपलब्ध होंगी। बोन्ज़ूर इंडिया को भारत एवं फ्रांस के बीच सदियों पुराने संबंधों व दोस्ती पर गर्व है। बोन्जऱू इंडिया सभी नए एवं उत्साही लोगों के लिए समान रूप से तैयार किया गया है। यह कार्यक्रम लोगों को एक ऐसा मंचप्रदान कर रहा है जहां पारिवारिक लोग, स्कूली बच्चे, युवा, वयस्क तथा अन्य लोग आपस में मिलते जुलते हैं, चर्चा करते हैं, अन्वेषण करते हैं तथा अपने साथ नई यादें और अनुभव ले जाते हैं, जिन्हें वह अपने जीवन भर याद रखेंगे।

बोन्ज़ूर इंडिया को सहयोग व निधि फ्रांस की सरकार से मिलते हैं, लेकिन फेस्टिवल को भारत व फ्रांस में निजी व सार्वजनिक क्षेत्र के अनेक साझेदार सहयोग व योगदान देते रहे हैं। इसने फेस्टिवल को समृद्ध बनाने तथा विस्तृत समुदायों को एक साथ लाने मैं महत्त्वपूर्ण भूमिका निर्भाइ है। लोगों को साथ लाने के संस्कृति के गुण एवं कला की शक्ति और भारत-फ्रांस संबंधों की शक्ति में अपने दृढ़ विश्वास के कारण खासकर मौजूदा एडिशन के लिए बीएनपी परिबास, पेर्नोद रिकर्ड, एयरबस, जेएसडब्लू ग्रुप, सेंट गोबिन, टाटा संस, गोदरेज सैफरैन, एकोर, ओम बुक्स इंटरनेशनल, चौधरी न्यूमेरो, बीरा91, ला’ओपेरा आदि जैसे अनेक छोटे व बड़े उद्यम एवं ब्रांड्स ने साथ आकर मौजूदा धूमिल आर्थिक समय मैं साथ आकर संस्कृति को अपना सहयोग दिया है। वो बोन्ज़ूर इंडिया के अंग हैं और भारत-फ्रांस कूटनीतिक संबंधों तथा भारत मैं स्वतंत्रता के 75वें वर्ष पूरे होने के अभूतपूर्व अवसर के इस जश्न में शामिल हो रहे हैं।

फ्रांस पूरे दिल से भारत को बोन्ज़ूर कहता है और एक आंनदमय, सौहार्द्रपूर्ण, मित्रवत एवं एक विशेष अवसर के रूप में फेस्टिवल की नींव रखता है!

बोन्जऱू इंडिया 2022 के तहत होने वाले कार्यक्रमों की झलकः एक बहुआयामी चित्रमाला द्वारा भारत तथा फ्रांस के बीच सहयोग का चित्रण

1. साझा इतिहास

फ्रांस मैं फोटोग्राफी के जन्म के बाद पिछले ढाई सौ सालों मैं फ्रांस और भारत के फोटोग्राफर्स ने भारत को किस रूप में देखा? बोन्ज़ूर इंडिया आपको फ्रांस में संग्रहालयों से प्राप्त ओरिज़नल प्रिंट व नैगेटिव्स के माध्यम से इतिहास में पहुंचाकर फोटोग्राफी के फ्रांस से संबंध की खोज पर ले जाएगा। यह श्रृंखला रहाब अलाना द्वारा तैयार की गई है। साथ ही, हेनरी कार्टियर-ब्रेसन, परमानंद दलवाडी द्वारा भारतीय फोटोग्राफर के साथ 70 के दशक के फ्रांस की खोज का चित्रण भी होगा।

इस फेस्टिवल में कम से कम तीन दशकों में दोनों देशों के बीच व्यापक एवं कम ज्ञात वैज्ञानिक सहयोग के इतिहास का चित्रण भी होगा। हीलियम से भारतीय रेलवे के इलेक्ट्रिफिकेशन तक, अंतरिक्ष से भारतीय शहरों के सैटेलाईट चित्रों और भारतीय शहरों में 1930 मैं फ्रांसीसी गणितज्ञों की मौजूदगी से 20वीं शताब्दी के पहले 50 सालों मैं भारत और फ्रांस के एक साथ उड़ान भरने की भारतीय कहानियों का चित्रण भी इस कार्यक्रम में किया जाएगा।

2. सहयोगी व समावेशी कार्यक्रम

बोन्ज़ूर इंडिया अभिनव प्रयासों द्वारा सार्वजनिक स्थानों को पुनः हासिल करेगा, और सिटी फॉर ऑल जैसे अभियानों द्वारा लैंगिक समस्या को संबोधित करेगा। समानता की अभिव्यक्ति के साथ स्ट्रीट आर्ट/वॉल आर्ट फेस्टिवल का चित्रण होगा, गलियों में स्कल्पचर डांस के नए तरीकों की खोज करते हुए स्ट्रीट परेड का आयोजन कंपनी ले ग्रांद पर्सोन द्वारा किया जाएगा। भारत में सहभागितापूर्ण जनस्थानों की कमी क्यों है? लोग एक साथ क्यों नहीं आते? बोन्ज़ूर इंडिया अपने प्रदर्शनों द्वारा इन सवालों को संबोधित करेगा।

3. विविध, मित्रवत और फेस्टिव कार्यक्रम

कोविड-19 ने सोशल डिस्टैंसिंग, मास्किंग, आईसोलेशन, ऑनलाईन काम की शुरुआत की और जीवन में मैत्रीपूर्ण व्यवहार की कमी ला दी। इस मामले में बोन्जऱू इंडिया ने पहल की है। बोन्ज़ूर इंडिया एक फेस्ट, एक समय है, जब लोग मित्रवत वातावरण में जीवंत और वाईब्रैंट कार्यक्रम तथा डांस, सर्कस, म्यूज़िक, पॉप-शो, बहस और फूड एवं सिनेमा के साथ एक जुट होंगे।

बोन्ज़ूर इंडिया इलेक्ट्रिक के साथ इलेक्ट्रो डांस की शक्ति व ऊर्जा प्रस्तुत करता है, एक इंडो-फ्रेंच थिएट्रिकल डांस रूप द्वारा मार्गेरीत दुरास का प्रदर्शन करता है, लेट्स डांस के प्रदर्शन से जुड़ी शॉर्ट फिल्म्स का चित्रण करता है और आधुनिक सर्कस प्रदर्शन में जग्लिंग की कला को नवजीवन प्रदान करता है।

फ्रांस का सिनेमा और गैस्ट्रोनोमी मिलकर एक जादुई अनुभव उत्पन्न करते हैं, जबकि एक रिक्शा में मोबाईल सिनेमा खुले मैं विज़्युअल आर्ट्स का प्रदर्शन करता है।

आपको लॉकडाऊन के दौरान गाने, गीत, एवं मधुर धुनें याद होंगी , जो बालकनी, गलियों और जूम क्वायर्स में गजूं ती थीं। जब शारीरिक सीमा मधुर धुनें बनाने की सार्वभौम इच्छा को अंकुरित न कर सकें तो प्रतिबंधों और सीमाओं से परे संगीत की ऊर्जा की कल्पना करें। जैज से लेकर फ्यूज़न और इलेक्ट्रो तक, बोन्ज़ूर इंडिया में संगीत एवं कंसर्ट्स की बेहतरीन श्रृंखला का आयोजन होगा।

4. किताबें, विचार और बहस

बोन्ज़ूर इंडिया विचारों अभिव्यक्ति और लोकतांत्रिक मूल्यों का उदार आदान-प्रदान करने वाला मंच है।

यह आर्किटैक्ट एवं कम्युनिटी-बेस्ड आर्टिस्ट, स्वाति जानू और भारत एवं यूरोप के विचारकों के साथ ‘रिबिल्डिगं टूगैदर’ की थीम पर नाईट ऑफ आईडियाज़ की बहस प्रस्तुत करता है।

नई दिल्ली वर्ल्ड बुक फेयर मैं कम से कम 20 लेखक, चित्रकार, कवि और पब्लिशर्स फ्रेंच पविलियन में भारत की विविधता एवं भाषाओँ व ग्राहकों के साथ संलग्न होंगे। यहां कार्यशालाओं संगोष्ठियों व पुस्तिकाओं के अनावरण समारोहों का आयोजन होगा।

प्रतिष्ठित गॉनकोर्ट पुरस्कार भारत में गॉनकोर्ट च्वाईज़ ऑफ इंडिया के रूप में प्रस्तुत किया गया है, जिसमें नौ भारतीय विश्वविद्यालयों और अलायंस फ्रांसेज़ नेटवर्क के विद्यार्थी ज्यूरी के रूप में एक साथ आकर उनके सर्वश्रेष्ट फ्रांकोफोन साहित्यिक कार्यों का चयन करेंगे।

भारत में फ्रेचं बोलने वाले समुदाय की संख्या व गुणवत्ता बढ़ रही है।

फ्रेंच तकनीशियनों के साथ एमएस 755 फ्लरेट पर प्रशिक्षण लेते भारतीय फ्लाईट कैडेट, जिनमें से एक पगड़ी पहने हुए है।
चित्र का श्रेय: रंजन बनर्जी/स्वर्गीय एवीएम एम बनर्जी